Highlights:
Desk: मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने हाल ही में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में स्पष्ट किया कि भारत निर्वाचन आयोग पूरी तरह निष्पक्ष, पारदर्शी और संविधान के प्रति प्रतिबद्ध संस्था है। उन्होंने दो टूक कहा कि जब सभी राजनीतिक दल चुनाव आयोग में पंजीकरण से जन्म लेते हैं, तो आयोग पर पक्षपात का आरोप ही निरर्थक है।
Bihar Politics News: तेजस्वी का बड़ा ऐलान: राहुल गांधी होंगे अगले प्रधानमंत्री….
उन्होंने कहा कि आयोग के लिए कोई सत्ता पक्ष या विपक्ष नहीं होता, बल्कि सभी राजनीतिक दल, मतदाता और एजेंसियां समान हैं। संविधान के अनुसार 18 वर्ष की आयु पूरी करने वाले हर नागरिक को मतदाता बनना और मतदान करना उसका अधिकार और कर्तव्य दोनों है।
Tejpratap Yadav का बड़ा हमला: राहुल-तेजस्वी की मंशा पर उठाए सवाल, महागठबंधन में दरार के संकेत
Breaking: “वोट चोरी” जैसे शब्द संविधान और मतदाताओं का अपमान
बिहार में चल रहे विशेष मतदाता सत्यापन कार्यक्रम (SIR) पर जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि 1.6 लाख बूथ लेवल एजेंटों ने मतदाता सूची का मसौदा तैयार किया, जिसे सभी दलों के प्रतिनिधियों ने सत्यापित किया है। अब तक 28,370 दावे और आपत्तियां प्राप्त हुई हैं, जिनका निष्पक्ष निपटारा किया जा रहा है। ज्ञानेश कुमार ने कहा कि “वोट चोरी” जैसे शब्द संविधान और मतदाताओं का अपमान हैं। उन्होंने राहुल गांधी के कथित आरोपों पर कहा कि जब तथाकथित दोहरे मतदान का सबूत मांगा गया, तो कोई प्रमाण नहीं मिला।
JSSC ने पीजीटी परीक्षा में 69 उम्मीदवारों की उम्मीदवारी रद्द की, 13 का परिणाम लंबित
चुनाव आयोग पर हमलों को राजनीतिक रणनीति बताते हुए उन्होंने कहा कि आयोग के कंधे पर बंदूक रखकर भारत के मतदाताओं को निशाना बनाना दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने दोहराया कि आयोग सभी वर्गों गरीब, अमीर, महिला, पुरुष, युवा और बुजुर्ग के साथ पूरी मजबूती से खड़ा है और निष्पक्षता की अपनी संवैधानिक जिम्मेदारी से कभी पीछे नहीं हटेगा।












